संचार मंत्रालय के दूरसंचार विभाग (डॉट) की एक टीम ने कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय (एमओएएफडब्ल्यू) के साथ 5जी यूजकेस लैब एक्सप्लोरेशन के हिस्से के रूप में भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (आईसीएआर)-पूसा का भ्रमण किया, यह दौरा डॉट की अंतर-मंत्रालयी समिति द्वारा विचार-विमर्श और एमओएएफडब्ल्यू के लिए स्वदेशी 5जी समाधानों के साथ औद्योगिक प्रस्तुतियों से आगे की ही प्रकिया है।
डॉ पीके मेहरदा, संयुक्त सचिव, डिजिटल कृषि (डीएसी और परिवार कल्याण); आईसीएआर-आईएआरआई टीम – डॉ अशोक कुमार सिंह, निदेशक; डॉ अनिल राय, अपर महानिदेशक (आईसीटी); डॉ रबी एन साहू, प्रधान वैज्ञानिक और उनकी उत्साही विशेषज्ञ टीमों ने श्री किशोर बाबू वाईजीएससी, डीडीजी (एस-आर-आई), एलेक्स विकास, अपर महानिदेशक (एस-आर-आई) सहित डॉट की टीम को उनके दौरे के समय हरसंभव सुविधा प्रदान की। यह परिसर स्मार्ट कृषि के मोर्चे पर उत्कृष्ट डिजिटल पहलों का एक प्रमुख केंद्र है। स्मार्ट एजी-टेक कृषि पर आईसीआरए में “5जी प्रौद्योगिकी का जुड़ाव” तथा “डिजिकॉम सीओई और यूजकेस लैब” के उपयोग की काफी संभावनाएं हैं।
उपरोक्त पहल से परिकल्पित परिणाम इस प्रकार हैं: 1. डॉट साझेदारी के साथ कृषि क्षेत्र में 5जी नवाचार के साथ एमओएएफडब्ल्यू की डिजिटल नवाचार क्रियाओं को लागू करे। 2. उत्कृष्ट कृषि और स्मार्ट खेती पर दूरसंचार सेवा प्रदाताओं तथा 5जी उद्योग के साथ जुड़ाव बनाएं जिससे प्रारंभिक योजनाओं एवं 5जी संचालित समाधानों के प्रयास किये जा सकें। 3. डिजिकॉम समाधान के साथ एमओएएफडब्ल्यू के तहत सीओई और यूज़केस लैब बनाने का अवसर प्राप्त हों।
दोनों पक्षों के अधिकारियों के साथ एक टास्क फोर्स विधिवत कार्यक्रम को समयबद्ध तरीके से उत्पादों के साथ विकसित करेगी।
5जी में अगली पीढ़ी की संचार प्रौद्योगिकी के रूप में आवाज और डाटा के अलावा कई अन्य आर्थिक एवं सामाजिक कार्यक्षेत्रों में व्यापक इस्तेमाल की संभावनाएं हैं। दूरसंचार विभाग ने सचिव (दूरसंचार) के मार्गदर्शन में 5जी अनुप्रयोगों और समाधानों पर जोर देते हुए 14 केंद्रीय मंत्रालयों एवं विभागों के साथ मिलकर सदस्य (प्रौद्योगिकी) के नेतृत्व में एक अंतर-मंत्रालयी समिति का गठन किया है। 5जी उपयोग के मामलों में एक श्वेत पत्र संबंधित मंत्रालयों को व्यापक प्रसार के लिए भेजा गया है, जिसमें भारतीय उद्योगों से जुड़े हुए एवं विकसित तरीके से इसके उपयोग का विवरण, उत्कृष्टता के प्रासंगिक केंद्र और 5जी परीक्षण तक पहुंच को सक्षम बनाने में डॉट की भागीदारी भी शामिल है।